डीमेट के टॉपर संदेह के घेरे में।

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ग्वालियर।१४ अक्टूबर [सीएन आई] डीमेट के टॉप छात्रों में 10 ऐसे लोगों के नाम शामिल हैं, जो एआईपीएमटी क्वालिफाई भी नहीं कर सके हैं, ऐसे में डीमेट में बड़े स्तर पर घोटाला होने की आषंका है। छात्रों ने काउंसलिंग के बाद जमकर हंगामा राजधानी में किया। व्हिसल ब्लोअर डॉ0 आनन्द राय का आरोप है कि डीमेट में एएफआरसी के पास टॉपर की लिस्ट होते हुये भी सार्वजनिक नहीं की गई। राषि जैन ग्वालियर का कहना हैं कि सीट खाली होने की जानकारी दी और रजिस्टेªषन करा लिया। पूरी कार्यवाही कर पौने 4 लाख रूपये भी जमा करा लिये। फिर भी सीट अलार्ट नहीं की गई। इसकी षिकायत की है। कह रहे हैं बीडीएस में सीट ले लो। पारस सकलेचा ब्हिसल ब्लोअर का कहना हैं कि कम्प्यूटर बंद चालू होने से ही करीब 15 प्रष्नों का ऑटोमैटिक मार्क हो जाते हैं। यह बड़ा मामला है। ऐसा न जाने कितने केन्द्रों पर हुआ होगा। इससे पूरी परीक्षा ही रद्द हो सकती है। षिकायत एएफआरसी में की है, इसे हाईकोर्ट में भी सामने रखेंगे। राय का कहना हैं कि टॉप 100 में से 90 छात्र हैं जो एआईपीएमटी को भी क्वालिफाई नहीं कर सके और डीमेट के टॉपर बने बैठे हैं। डीमेट की टॉपर्स को 190.45 अंक प्राप्त हुये हैं। षिकायत एफएफआरसी को की है, लेकिन कोई भी जिम्मेदार जबाव नहीं दे रहा है। डीमेट वाले दिन उम्मीदवारों के कम्प्यूटर सिस्टम बंद चालू होने से 15 प्रष्न ऑटो मैटिक ही मार्क हो गये थे। इसके षिकार झांसी के सागर राय ने बताया कि कम्प्यूटर सिस्टम लॉगिन करने के बाद 45 प्रष्न हल कर दिये थे, अचानक कम्प्यूटर बंद हो गया। पर्यवेक्षक को बुलाने पर सिस्टम दुबारा चालू हुआ, लेकिन हल किये हुये प्रष्न गायब थे। वहीं नये प्रष्न ऑटोमैटिक मार्क किये हुये मिले। इससे 45 मिनट बर्बाद हुये, अतिरिक्त टाइम नहीं मिला। उसे 145 नम्बर आने की उम्मीद थी, उसे 101 नम्बर आये हैं।dimet