सूर्य की तरह प्रकाश मान है परमात्मा का नाम : मुकेशानंद गिरी

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लुधियाना 7 दिसम्बर (सी एन आई ) श्री प्रेम धाम में गुरुदेव मुकेशानंद जी महाराज के सान्धिय में साप्ताहित सत्संग का आयोजन किया गया। गणेश वंदना के साथ आरम्भ हुए सत्संग में श्री प्रेम संकीर्तन मंडल के सदस्यों की तरफ से प्रस्तुत भजनों पर भक्तों ने नाम की मस्ती में मस्त होकर हरिनाम का गुणगान किया। मुकेशानंद गिरी जी महाराज ने परमात्मा के गुणों व आकार का वर्णन करते हुए कहा कि सृष्टि के कण-कण में विराजमान परमात्मा सब कुछ जानने वाला है और पूरी सृष्टि को चलाने वाला शासक है। उसका कोई आकार नहीं है, क्योंकि वह सूक्ष्म से भी अति सूक्ष्म हैं, जो आंखों से नहीं देखा जा सकता। परमात्मा के अंग-संग होने का केवल अनुभव व अहसास किया जा सकता है। वह सभी जीवों को भरण व उनका पोषण करने वाला है। वह अचिन्त्य रूप है। वह अज्ञान रूपी अंधकार से अति परे और सूर्य की तरह प्रकाशमान है। इस स्वरूप वाले परमात्मा का स्मरण करके ही मनुष्य के भीतर विराजमान आत्मा का परमात्मा से मिलाप हो सकता है। हरि भगवान की आरती के साथ भोग अर्पित कर सत्संग को विश्राम दिया गया। इस अवसर पर बाबा गोपाल दास,बाबा दीपक,पंडित सोहन लाल,योगेश मोदी,राजन मोदी,मनमोहन मित्तल,सुदेश गोयल,नरिंदर गुप्ता,रवि गोयल,सुमित गोयल,चेतन मरवाहा,विनोद गोयल,प्रेम सिंगला,अनिल धमीजा,रमेश बांसल,राजिंदर मिगलानी,वरुण मिगलानी,सुधीर शर्मा,योगेश गुप्ता,दविंदर कलसी,दीपक वर्मा,राजीव शर्मा,मनोज शर्मा,रूबी ठाकुर,गौरव गुप्ता,तुषार धमीजा इत्यादि उपस्थित थे