कागजों में दफन हो गया माॅडम खरीदी घोटाला।

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ग्वालियर।13 सितम्बर (सीएनआई) बिजली कंपनी ने डीटीआर मीटर खरीदकर लगाने का काम वीनस कंपनी को दिया, इस कंपनी से 3 हजार रू. खरीद वाले मीटर को बिजली कंपनी के अधिकारियों ने अपने निजी स्वार्थ की खातिर 7 हजार 635 रू. में खरीदा। इतना ही नहीं इस कंपनी को 2700रू. ट्रांसफार्मर आदि पर लगाने का काम भी दे दिया। वर्तमान में जहां डीटीआर मीटर बंद पड़े हैं। वहीं दूसरी ओर 70 प्रतिषत से अधिक माॅडम मृत स्थिति में पड़े हैं। करोड़ों रूपये की लागत से डीटीआर मीटरों में लगाये गये माॅडम खरीदी घोटाले की जांच रिपोर्ट एक साल पूर्व एमडी कार्यालय को भेजी गई थी, उक्त रिपोर्ट के बाद अभी तक न तो दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही हो पाई ना ही माॅडम सही कराये गये। परिणामस्वरूप माॅडम सोफीस बनकर रह गये। जिससे न तो एनर्जी आॅडिट हो पा रहा है ना ही बिजली चोरी का पता लग पा रहा है। मजेदार बात यह है कि माॅडम लगाने वाली कंपनी टाटा कन्सल्टेंसी काम पूरा करने से पहले बिजली कंपनी से 6 करोड़, 54 लाख का भुगतान लेकर काम अधूरा छोड़कर भाग गई। कंपनी के भाग जाने के बाद एमडी कार्यालय ने महाप्रबंधक स्तर के अधिकारी से जांच कराई थी। जिसमें 148 सवस्टेषनांे में से मात्र 43 सही पाये गये। मुख्य महाप्रबंधक कप्तान सिंह का कहना हैं कि कुछ जगह माॅडम के काम न करने की षिकायत मिली थी, उसकी जांच हुई थी, उसका अध्ययन चल रहा है। शीघ्र दोषी अधिकारी और कंपनी पर कार्यवाही होगी।bijli