ग्वालियर।। 08 सितम्बर (सीएनआई ब्यूरो) डबरा में पूज्य सिंधी पंचायती धर्मषाला में मुम्बई से आई ब्रह्यमकुमारी दिव्या बहन ने कहा कि मानव जीवन में सफलता का मूलमंत्र शांति है। मनुष्य को शांति के लिये आध्यात्म की आवष्यकता होती हैं आध्यात्म का जीवन में विषेष महत्व है। डबरा सेवा केन्द्र की प्रभारी सीता बहन ने कहा कि जीवन में हर ओर तनाव होने से हर व्यक्ति अपने आपको असुरक्षित महसूस कर रहा है। चाहे वह नौकरी या व्यवसाय का क्षेत्र हो। जीवन में जन्म होकर पहले स्टेषन से यात्रा शुरू कर आखिरी स्टेषन मृत्यु तक जीवन चलता है। इस बीच सफर चलता है। मनुष्य तनाव के उपायों के लिये भटकता रहता है। इसके लिये सबसे सरल उपाय ध्यान हैं। जो जीवन में तनाव से मुक्ति दिलाता है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि पूज्य सिंधी पंचायत के सुन्दर संतवानी थे। विषिष्ट अतिथि के रूप में समाजसेवी अनिल जैन पारस मौजूद थे। संत हिरदाराम संस्था बैरागढ़ के डबरा प्रमुख दीपचन्द्र संतवानी, जयप्रकाष सुखानी, द्वारिका हुकवानी, गंगाराम, बन्नाराम, राजू रामायणी, अषोक तलेजा, दर्षन, दिनेष हिन्दूजा एवं संस्था के पदाधिकारी मौजूद थे।
ग्वालियर।। 08 सितम्बर (सीएनआई ब्यूरो) डबरा में पूज्य सिंधी पंचायती धर्मषाला में मुम्बई से आई ब्रह्यमकुमारी दिव्या बहन ने कहा कि मानव जीवन में सफलता का मूलमंत्र शांति है। मनुष्य को शांति के लिये आध्यात्म की आवष्यकता होती हैं आध्यात्म का जीवन में विषेष महत्व है। डबरा सेवा केन्द्र की प्रभारी सीता बहन ने कहा कि जीवन में हर ओर तनाव होने से हर व्यक्ति अपने आपको असुरक्षित महसूस कर रहा है। चाहे वह नौकरी या व्यवसाय का क्षेत्र हो। जीवन में जन्म होकर पहले स्टेषन से यात्रा शुरू कर आखिरी स्टेषन मृत्यु तक जीवन चलता है। इस बीच सफर चलता है। मनुष्य तनाव के उपायों के लिये भटकता रहता है। इसके लिये सबसे सरल उपाय ध्यान हैं। जो जीवन में तनाव से मुक्ति दिलाता है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि पूज्य सिंधी पंचायत के सुन्दर संतवानी थे। विषिष्ट अतिथि के रूप में समाजसेवी अनिल जैन पारस मौजूद थे। संत हिरदाराम संस्था बैरागढ़ के डबरा प्रमुख दीपचन्द्र संतवानी, जयप्रकाष सुखानी, द्वारिका हुकवानी, गंगाराम, बन्नाराम, राजू रामायणी, अषोक तलेजा, दर्षन, दिनेष हिन्दूजा एवं संस्था के पदाधिकारी मौजूद थे।