किसके पास जांये गरीब जब कोई आने ना दे करीब

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15 अक्टुबर लुधियाना (सन्तोष पाठक) दिन पे दिन बडती हुई मजदुरांे पे अत्याचार और जुर्म अब चरम सिमा को पार कर गया है जब कभी भी मजदुरांे के उपर हमला
होता है तो पंजाब पुलिस उनका साथ नहि देती अक्सर ये देखने को मीलता है पुलिस के आला अधिकारी तो अपने फरमान जारी करदेते है लेकीन उसे अमल मे कोइ भी नहि लाता थाने और चैकि मे बैठे मामुलि से कंास्टेबल भी अपनी सिनीयर के आदेशों को ठेंगे पर रखते है
अभी ताजा मामला मोती नगर थाने का है 3 मजदुर जो
कि मोचपुरा बाजार मे अपना काम निपटाने के बाद रात 9 बजे अपने कमरे जा रहे थे जोकि मोती नगर थाने के सामने से गुजर रहे थे कि अचानक 4 5 कि गिनती मे राहगीरो से मारपीट कर
लुटने वाले लुटेरे आये और उन्हे धारदार हथीयार दिखा अपना सब कुछ देने कहा उनके बिरोध करने पे मारे उनका मोबाइल और रूपये छिन लिए एक का 10000 और मोबाइल दुसरे से 700 नगद
और मोबाइल तीसरे से 60 रूपये और मोबाइल थाने से महज 100 मिटर कि दुरी पे! घटना हुई है वह भी सिर्फ रात के 9 बजे !तिनोंचन्द कदमो दुरी पे थाने मदत मांगने पहुंचे जहंा पे उन्हे मदत के नाम पे मीली गालियां और भाग जाने कि सलाह पुलिसवालों ने अपना एरीयां ना होना कह पल्ला झाड. लिए मजदुरों का कहना हैकि यदि पुलिस चाहती तो लुटेरों को काबु कर सकती थी मगरपुलिस सक के घेरे मे पंजाब बचावो मोर्चा के प्रेसीडेंट परमिंदर सिंहने पुलिस कमिश्नर को लिखती रूप मे कहा है कि उस थाने मे उससमय मौजुद रहते और डयुटि मे कोताहि करने कि कार्यवाई करें