कैथल, 21 अक्तूबर (राजकुमार अग्रवाल )हरियाणा के सूचना एवं जन सम्पर्क विभाग द्वारा हरियाणा प्रदेश की लोक संस्कृति का आईना सांझी प्रतियोगिता का आयोजन
लघु सचिवालय स्थित सूचना एवं जन सम्पर्क विभाग के कार्यालय परिसर में किया गया। इस प्रतियोगिता में गांव टीक निवासी कविता पत्नी सुभाष चंद, स्थानीय खुराना
रोड निवासी राजबाला पत्नी बलबीर सिंह तथा किरण पुत्री बलबीर सिंह की कृतियों को निर्णायक मंडल द्वारा क्रमश: प्रथम, द्वितीय व तृतीय चयनित किया गया।
जिला सूचना एवं जन संपर्क अधिकारी रणधीर शर्मा ने बताया कि इस विभाग द्वारा पिछले कई वर्षो से सांझी के महत्व को समझते हुये प्रतिवर्ष यह आयोजन किया जाता
है। हार्ड बोर्ड पर गोबर और चिकनी मिट़्टी से तैयार सांझियां इस परिसर में सजाई जाती हैं और सांझी के बारे में उसके इतिहास से परिचित लोगों को ही निर्णायक के
रूप में शामिल किया जाता है। इस प्रतियोगिता के लिए जिला बाल कल्याण अधिकारी श्री सुशील पांचाल, सीडीपीओ रेनू पसरिचा तथा शिक्षा विभाग में ड्राईंग टीचर
श्री संजीव सिंह को निर्णायक मंडल में शामिल किया गया था। इस प्रतियोगिता में प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान पर रहने वाली उत्कृष्ट कृतियों की कलाकारों को
क्रमश: 5 हजार, 3 हजार तथा 2 हजार रुपए का ईनाम दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि विभाग कई वर्षो से हरियाणा की प्राचीन परम्परा की सूचक सांझी प्रतियोगिता
आयोजन करके इस कला को जीवंत रखे हुये है। आज के भौतिकवाद के दौर में जब हम पाश्चात्य सभ्यता का अन्धानुकरण करके अपनी मूल परम्पराओं को भूलते जा
रहे हैं, वहीं इस विभाग का यह प्रयास वास्तव में एक सराहनीय कदम है। उन्होंने सांझी के संदर्भ में अपने अनुभव के आधार पर बताया कि हम लोग बचपन से नवरात्रों
के दिनों में दीवारों पर सांझी बनाने की कला को देखते आयें है, जिसमें महिलाओं द्वारा सांझी तैयार करने के बाद उसे कच्चे रंगों के साथ रंगा जाता है, जिसके उपरान्त
घर की किसी दीवार पर सजाकर उसकी पूजा की जाती है। हरियाणा प्रदेश की सभ्यता और संस्कृति के साथ-साथ यहां के लोगों का विभिन्न तीज त्यौहारों में शामिल
होना इस प्रदेश को पूरे राष्टï्र में एक अलग पहचान देता है। इस अवसर पर सहायक सूचना एवं जन संपर्क अधिकारी दिलबाग सिंह, सूचना केंद्र सहायक रानी देवी,
सुभाष चंद, राहुल शर्मा, अंकुश, प्रोमिला देवी, भाग चंद, सतपाल, दलबीर, बलवान, धीरज इत्यादि मौजूद रहे।